चारधाम यात्रा 2025: DGP ने केदारनाथ व बद्रीनाथ में सुरक्षा व्यवस्था का निरीक्षण कर दिए जरूरी निर्देश

चारधाम यात्रा 2025: उत्तराखंड पुलिस महानिदेशक श्री दीपम सेठ द्वारा केदारनाथ एवं बद्रीनाथ धामों का स्थलीय निरीक्षण, सुरक्षा व्यवस्था को लेकर दिए गए दिशा-निर्देश
रुद्रप्रयाग/ देहरादून। चारधाम यात्रा 2025 की व्यापक तैयारियों के तहत उत्तराखंड के पुलिस महानिदेशक (DGP) श्री दीपम सेठ और अपर पुलिस महानिदेशक (ADG), अपराध एवं कानून व्यवस्था, श्री वी. मुरूगेशन ने 1 मई 2025 को श्री केदारनाथ एवं श्री बद्रीनाथ धामों का स्थलीय निरीक्षण किया। इस दौरान दोनों अधिकारियों ने यात्रा मार्गों, सुरक्षा उपायों, पुलिस बल की तैनाती, संचार व्यवस्था और भीड़ प्रबंधन की बारीकी से समीक्षा की और आवश्यक निर्देश जारी किए।
केदारनाथ धाम में निरीक्षण व निर्देश:
DGP दीपम सेठ प्रातः श्री केदारनाथ धाम पहुंचे जहां उन्होंने रुद्रप्रयाग के पुलिस अधीक्षक श्री अक्षय प्रल्हाद कोंडे से यात्रा से जुड़ी सुरक्षा तैयारियों की जानकारी ली। निरीक्षण के दौरान उन्होंने निम्नलिखित बिंदुओं पर विशेष जोर दिया:
- टोकन व्यवस्था: इस वर्ष यात्रा के दौरान दर्शन को सुव्यवस्थित बनाने हेतु टोकन व्यवस्था लागू की गई है। डीजीपी ने निर्देश दिए कि टोकन काउंटरों की संख्या बढ़ाई जाए और सूचनाओं के प्रसार के लिए पब्लिक एड्रेस (PA) सिस्टम का प्रभावी उपयोग हो। स्क्रीन के माध्यम से टोकन नंबर, स्लॉट व दर्शन समय की जानकारी श्रद्धालुओं को समय-समय पर प्रदान की जाए।
- ड्यूटी प्रबंधन: ड्यूटी चार्ट व्यवस्थित हों और हर अधिकारी व कर्मचारी को उनके दायित्व स्पष्ट रूप से ज्ञात हों। जिम्मेदारियों में कोई भ्रम या ढील न रहे।
- सुरक्षा समन्वय: एटीएस (ATS), पीएसी (PAC), एसडीआरएफ (SDRF), और पैरा मिलिट्री बलों के बीच समन्वय को और सुदृढ़ करने का निर्देश दिया गया ताकि किसी भी आकस्मिक स्थिति में त्वरित एवं प्रभावी प्रतिक्रिया दी जा सके।
- यात्रा मार्ग निरीक्षण: उन्होंने आस्था पथ, मंदिर परिसर, टोकन वितरण स्थल और ड्यूटी प्वाइंट्स का स्वयं निरीक्षण कर व्यवस्थाओं की समीक्षा की।
बद्रीनाथ धाम का गहन स्थलीय निरीक्षण:
केदारनाथ के बाद डीजीपी दल बद्रीनाथ धाम पहुंचा, जहां चमोली जिले के पुलिस अधीक्षक श्री सर्वेश पंवार व अन्य अधिकारियों के साथ संयुक्त निरीक्षण किया गया। यहां पर निम्न पहलुओं की समीक्षा की गई:
- यात्रा मार्गों और ट्रैफिक व्यवस्था: तीर्थयात्रियों के निर्बाध आवागमन हेतु ट्रैफिक कंट्रोल और यात्रा मार्गों की स्थिति पर विशेष ध्यान दिया गया। संचार व्यवस्था को मजबूत करने के भी निर्देश दिए गए।
- वरिष्ठ नागरिकों एवं दिव्यांगों के लिए सहायता: डीजीपी ने निर्देश दिया कि मंदिर समिति से समन्वय स्थापित कर वरिष्ठ नागरिकों, दिव्यांग जनों एवं बीमार श्रद्धालुओं के लिए विशेष सहायता और प्राथमिकता सेवा की व्यवस्था की जाए।
- पुलिस बल के लिए आवासीय प्रबंध: ड्यूटी पर तैनात पुलिस और सुरक्षाकर्मियों के लिए ठहरने, भोजन और चिकित्सा की व्यवस्था की समीक्षा की गई और उसे और बेहतर करने का निर्देश दिया गया।
पुलिस बल से संवाद और प्रेरणा:
केदारनाथ और बद्रीनाथ दोनों धामों में डीजीपी दीपम सेठ ने तैनात पुलिसकर्मियों, पीएसी, एसडीआरएफ, आईटीबीपी और अन्य बलों से सीधा संवाद किया। उन्होंने कहा कि—
“चारधाम यात्रा केवल एक तीर्थ नहीं बल्कि उत्तराखंड की सांस्कृतिक और प्रशासनिक गरिमा का प्रतीक है। इस पवित्र यात्रा को सुरक्षित, सुव्यवस्थित और श्रद्धालु-केंद्रित बनाना हम सभी की सामूहिक जिम्मेदारी है। सभी अधिकारी और कर्मचारी संवेदनशीलता और सेवा-भावना के साथ ड्यूटी पर तैनात रहें।”
उन्होंने पुलिस बल का मनोबल बढ़ाते हुए उनकी समर्पित सेवा की सराहना की और आग्रह किया कि सभी ड्यूटी कर्मी समयबद्ध, सतर्क और जिम्मेदार रहकर कार्य करें।
उत्तराखंड पुलिस की पूर्ण तैयारी:
DGP ने कहा कि चारधाम यात्रा 2025 के लिए राज्य प्रशासन, पुलिस, पीएसी, आईटीबीपी, आईआरबी, एसडीआरएफ, यातायात विभाग और अन्य सहयोगी एजेंसियों के साथ पूर्ण समन्वय स्थापित कर लिया गया है। सभी विभागों का उद्देश्य है कि श्रद्धालुओं को एक सुगम, सुरक्षित और आस्था-पूर्ण यात्रा का अनुभव मिले।
इस निरीक्षण के दौरान रुद्रप्रयाग एवं चमोली जिलों के वरिष्ठ अधिकारीगण, यात्रा मार्गों पर तैनात पुलिस बल, आईटीबीपी, एसडीआरएफ एवं अन्य सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारी व कर्मचारी भी उपस्थित रहे।